
देवांशु के क़त्ल के सिलसिले में अब पुलिस को अखिलेश पर भी शक हो रहा था , क्योंकि मारपीट में देवांशु के शरीर पर तो बहुत से ज़ख्मों के निशान थे | लेकिन अखिलेश के शरीर पर एक भी ज़ख्म के निशान नहीं थे | अब पुलिस वाले अखिलेश पर नज़र रखने लगे |
इस बीच पुलिस ने जोया और उसके साथी को गिरफ्तार कर लिया | और आगे तफ्तीश कर पता लगाने की कोशिश करने लगी कि आखिर जोया है कौन ?
तभी पुलिस को जोया के ज़िन्दगी से जुडी कुछ रहस्य का पता चला और यहाँ से एक नयी बात की जानकारी पुलिस को मिलती है |
जोया का असली नाम इरशाद है | अच्छे परिवार में उसका जन्म हुआ था | लेकिन बचपन से ही उसका हुलिया लडको जैसा कम और लड़की जैसा ज्यादा दीखता था | उनके अन्दर लड़कियों वाले गुण ज्यादा थे |
उसे आगे चल कर महसूस हुआ कि वह लड़का नहीं बल्कि लड़की है | और उसके संगत कुछ बदमाश किस्म के लोगों से हो गया | इसलिए घरवाले उसे घर से निकाल देते है |
जोया किन्नर जैसा तो दीखता था ही | उसने देखा कि दुसरे किन्नर लोग घरों में जाकर पैसा मांगते है और उन्हें अच्छी खासी आमदनी हो जाती है | ट्रेन में भी किन्नर लोग पैसों की वसूली करते है | इस तरह किन्नर लोग पैसो के मामले में बहुत अमीर होते है |
जोया ने सोचा कि भगवान् ने मुझे भी किन्नर जैसा बनाया है तो मैं भी इस तरह से पैसे क्यों नहीं कमा सकता हूँ ?
वह भी अब किन्नर जैसी पोषक पहन कर ट्रेन में पैसे वसूलने लगा | इत्तेफाक से एक रोज़ वो ट्रेन में पैसे वसूली कर रहा था तभी दुसरे किन्नर की नज़र जोया पर पड़ गयी | फिर क्या था, किन्नर की पूरी टोली उसे घेर लेती है और पूछ ताछ शुरू करती है | जो सचमुच किन्नर होते है उनका एक अलग समाज होता है और पैसा कमाने के लिए उनलोगों का अलग अलग इलाका होता है |

किन्नरों को वह अपने बारे में ठीक – ठाक जबाब नहीं दे सका | किन्नर समझ गए कि वह उसके बिरादरी का नहीं है | इसलिए सब लोगों ने उसकी खूब धुलाई कर दी और उस इलाके से जोया को भगा दिया |
लेकिन इस घटना के बाद उसके दिमाग में यह बात बैठ गयी कि उसे अब किन्नर ही बनना है क्योंकि इसमें बहुत पैसे है | वह कुछ दिनों के बाद ही वहाँ से भाग कर दिल्ली आता है और वहाँ एक क्लिनिक में अपना सेक्स परिवर्तन करा लेता है |
अब वह लड़की बन जाती है और अपना एक नया नाम रख लेता है जोया | अब वह हकीकत में किन्नर बन चूका था | दिल्ली में रह कर छोटी छोटी चोरी और पॉकेटमारी कर के अपना गुज़ारा करता था | इसी बीच उसकी एक दुसरे पॉकेटमार से मुलाकात होती है | उसका नाम शाहिद था | उन दोनों में प्यार हो जाता है और फिर वे दोनों शादी कर लेते है |
कुछ दिनों दिल्ली में साथ रहने के बाद दोनों इंदौर वापस आ जाता है और ट्रेन में पॉकेटमारी और चोरी का धंधा करने लगता है | लेकिन एक दिन जोया के साथ एक बड़ा हादसा हो गया, जिसने उसे क्राइम की दुनिया में ला दिया |
हुआ यूँ कि उस दिन वह ट्रेन में चोरी के ख्याल से सफ़र कर रहा था | तभी जोया मौका पाकर एक सेठ का बैग लेकर भागने लगा | लेकिन सेठ तब कर जाग चूका था और वो अपने बैग लेने के लिए उसके पीछे भागा | बोगी के गेट के पास हाथा -पाई हुई और तब जोया ने सेठ को चलती ट्रेन से नीचे फेक दिया |
बाकी यात्रियों से अपनी जान बचाने के लिए वह चाक़ू निकाल कर सब को डराने लगा और ट्रेन की गति कम होते ही उतर कर किसी तरह अपनी जान बचाई | उसने बाद ट्रेन में चोरी करना छोड़ अब अपने दो साथियों के साथ सुनसान रास्ते, और हाईवे पर लोगों से लुट- पाट करना शुरू कर दिया |
पुलिस पूरी घटनाक्रम को कलमबद्ध कर लिया और उनलोगों को गिरफ्तार कर लिया | पुलिस इस नतीजे पर पहुँची कि जेब काटने वाले उस छोटे से चाकू से कट लगने के कारण खून बहा और देवांशु की मौत हो गयी | अंततः उन लोगों को अदालत में पेश करने हेतु पुलिस ने आवश्यक कार्यवाही शुरू कर दिया |

लेकिन दुसरे दिन ही देवांशु की विधवा रागिनी उस पुलिस थाने पहुँच गयी | उसने पुलिस के सामने यह आशंका व्यक्त किया कि देवांशु मौत के पीछे कोई और वजह हो सकती है | क्योंकि अगर जोया और उसके साथियों को गले का चेन ही लेना था तो उसे चाकू दिखा कर भी लुट सकते थे |
पुलिस को रागिनी की बात भी उचित लगी | इसलिए पुलिस ने मज़बूरी में मौत के दुसरे कारणों की वजह जानने के लिए प्रयास करने लगी |
सबसे पहले पुलिस ने जोया और उसके दोस्तों के फ़ोन डिटेल्स खंगहालने लगी | तभी पुलिस चौक पड़ी | उसके मोबाइल से विनय के मोबाइल नंबर पर बात होने की पुष्टि हुई | पुलिस की नज़रों में अब विनय भी शक के घेरे में आ गया |
पुलिस ने विनय को भी पूछ ताछ के लिए पुलिस स्टेशन बुलाया | लेकिन विनय ने इस घटना के बारे में कोई जानकारी नहीं होने की बात कही |
पुलिस को मोबाइल के डाटा से बहुत ही अहम जानकारी मिल रही थी | इस मामले में अब पुलिस जोया और उसके साथियों पर दबाब बनाया तो एक नयी कहानी उभर कर सामने आयी |
जोया गैंग ने खुलासा किया कि दरअसल, विनय पहले से जोया गैंग को जानता था और उसने ही देवांशु को मारने की सुपारी उनलोगों को दी थी | जोया गैंग जान से मारने के इरादे से ही अपने चाकू की धार में ज़हर का प्रयोग किया ताकि कुछ समय पश्चात् उसकी मौत हो जाए |
अब पुलिस को यह समझ नहीं आ रहा था कि विनय तो देवांशु का दोस्त है और पार्टी में भी साथ था तो वो उसके जान की दुश्मन कैसे हो सकता है ?
लेकिन पुलिस तो सच्चाई पता लगाने के बहुत उपाए जानती है | उसने विनय को पुलिस थाने में लाकर उस पर थर्ड डिग्री का इस्तेमाल किया | और अगले ही पल विनय भी टूट गया और फिर उसने इस रहस्य से पर्दा उठाया |
विनय ने बताया कि हम तीनो बचपन के दोस्त थे और देवांशु की पत्नी रागिनी भी सब के साथ एक ही स्कूल में पढ़ते थे | विनय मन ही मन रागिनी से प्यार करने लगा था | एक दिन उसने मौका पाकर अपने दिल की बात रागिनी को बता दिया | लेकिन रागिनी के घर वाले इस रिश्ते के लिए तैयार नहीं हुए, क्योंकि बिनय एक गरीब घर से था |
हाँ, स्कूल के दिनों में ही रागिनी के घर वाले देवांशु के माता पिता से आग्रह कर उसका रिश्ता देवांशु से कर दिया था | क्योकि देवांशु के घर वाले अमीर थे और देवांशु उनका इकलौता बेटा था |
हालांकि उन दोनों की विधिवत शादी देवांशु के नौकरी लगने के बाद ही सिर्फ दो साल पहले हो सकी थी |

लेकिन कहते है न कि पहला प्यार भुलाये नहीं भूलता | विनय अब भी रागिनी से उतना ही प्यार करता था , और उसे पाने की इच्छा रखता था |
विनय ने सोचा कि अगर देवांशु की किसी तरह मौत हो जाती है तो फिर रागिनी उसके साथ शादी करने को तैयार हो जाएगी | और उसका पहला प्यार उसे मिल जायेगा | इसलिए उसने यह साजिश रची थी | इसके अलावा विनय ने यह भी कुबूल लिया कि वो विडियो भी पुलिस को उसने ही भेजा था | ताकि पुलिस को मर्डर की साजिश न लगे और किसी को उस पर शक नहीं हो |
लेकिन अब तो तीन – तीन ज़िन्दगी बर्बाद हो चुकी थी | रागिनी इतने कम उम्र में विधवा हो गयी | देवांशु अपने माता पिता का इकलौता संतान था और तीसरा जो विनय है उसने भी अपनी ज़िन्दगी में आग लगा ली |
अंत में पुलिस ने उन सभी को गिरफ्तार कर लिया है और उन लोगों के खिलाफ अदालत में साक्ष्य प्रस्तुत करने में जुटी हुई है | अब देखना यह है कि किस पर कौन सी धारा लगती है और किसे क्या सज़ा मिलती है ?
आप क्या अनुमान लगाते है ?
मर्डर मिस्ट्री (भाग-1 ) हेतु नीचे link पर click करे..
BE HAPPY….BE ACTIVE….BE FOCUSED….BE ALIVE…
If you enjoyed this post, please like, follow, share and comments
Please follow the blog on social media … visit my website to click below..
Categories: story
Good twists and turns in this story!
LikeLiked by 1 person
I feel happy that you have read all the three parts of this story,
and I received your words of appreciation. .
Thank you very much Sir,
LikeLiked by 1 person
It’s my pleasure, Vermaji. You write well. Yes, I like to read anything in one go, not in instalments.
LikeLiked by 1 person
Yes sir,
You have such quality, I will try also.
LikeLiked by 1 person
कहानी के तीनों भाग में रोचकता भरपूर है जो जिज्ञासा बढाने में पूरा कामयाब है।
LikeLiked by 1 person
आपके शब्द मेरा हौसलाअफजाई करते है .. धन्यवाद भाई |
LikeLike
Reblogged this on Retiredकलम and commented:
Every single day is a good day,
no matter how bright or dark it is,
because it always brings an opportunity..
Stay happy …Stay blessed…
LikeLike