
दोस्तों,
आज का ब्लॉग लिखते हुए बहुत दुःख का अनुभव हो रहा है | कुछ दिनों से लगातार लगभग हर दिन मेरे सगे सम्बन्धी और मेरे बैंक के साथी कोरोना से संघर्ष करते हुए अलविदा कह रहे है |
जैसे ही सुबह सोशल मीडिया खोलता हूँ तो कोई ना कोई बुरी खबर आँखों के सामने से गुज़र जाता है | थोड़ी देर हाथों में मोबाइल पकडे आँखों को बंद कर अपने आप से यही कहता हूँ … हे भगवान्, आज इनको भी अपने पास बुला लिया, ..ॐ शांति .. ॐ शांति |
उनके साथ जुडी ना जाने कितने ही यादें अचानक आँखों के सामने तैरने लगते है |
कभी कभी तो दिल मानने को तैयार ही नहीं होता कि एक सप्ताह पूर्व तक जिनसे मेरे व्हाट्स अप और फेसबुक पर हँसता हुआ चेहरा और मनोरंजन पूर्ण बाते करने वाला इंसान, इस तरह अचानक खोमोश कैसे हो गया |
सचमुच, यह घटनाएँ मेरे मन को अन्दर तक झकझोर कर रख देते है | मेरी यह आदत है कि रोज सुबह अपने मिलने वालों को उनके जन्मदिन की बधाई फेसबुक के माध्यम से देता हूँ, या सुबह के राम राम के साथ अपने ब्लॉग के पोस्ट को link भेजता हूँ |
थोड़ी ही देर में उनलोगों की प्रतिक्रिया भी आ जाती है, जिसका बेसब्री से हमें इंतज़ार रहता है |

कल तो एक अजीब बात हो गयी | …मैंने अपने एक मित्र को व्हाट्स – अप पर जन्मदिन की बधाई भेजा | तो ज़बाब में, शोक सन्देश का कार्ड देखने को मिला | मैं तो स्तब्ध रह गया, मुझे मेरी आँखों पर विश्वास नहीं हो रहा था |
एक और घटना का जिक्र करना चाहूँगा | दो दिनों पूर्व, जब मैं सुबह अपन्रे एक मित्र को गुड मोर्निंग का मेसेज भेजा, तो जबाब में यह लिखा मिला … अंकल , पापा अब नहीं रहे |
देखते ही देखते बिलकुल भला – चंगा और स्वस्थ इंसान हम सबों के बीच से अचानक covid के कारण चल बसे |
यब देख कर और सुनकर सोचने लगता हूँ कि आज कल ज़िन्दगी कितनी unpredictable हो गई है |
मुझे तो समझ में नहीं आता कि पुराने ज़माने के मुकाबले हमने हर क्षेत्र में बहुत तरक्की कर ली है .. फिर भी हमारे बुजुर्ग अपने ज़माने में शायद ऐसे दौर से नहीं गुजरें होंगे |
एक समय सीमा के बाद भरा पूरा घर छोड़ कर दुनिया को अलविदा कहते थे और हमलोगों तो उनके मृत्यु पर गाजे बाजे के साथ विदा करते थे | क्योकि उन्होंने अपने जीवन को शानदार ढंग से जिया था |
लेकिन आज, हम ज़िन्दगी में संघर्ष करते हुए आगे बढ़ते है कि चलो आगे थोड़ी आराम कर लेंगे |, लेकिन तभी बीच में ही उपरवाले का बुलावा आ जाता है, और पता चलता है मानव निर्मित कोरोना वायरस से हम ज़िन्दगी हार रहे है |
लगता है प्रकृति हम सबों का इन्म्तेहान ले रही है | जो लोग अपने को अजर -अमर मानते हुए प्रकृति का दोहन कर रहे थे और श्रृष्टि को धत्ता बता रहे थे | दुनिया की सारी सुख सुविधाएँ केवल अपने और अपने परिवार वालों के लिए इकठ्ठा कर रहे थे |
उनके लिए और हम सबों के लिए भी सन्देश साफ़ है कि चाहे कितना भी धन संचित कर लें, विज्ञानं कितना भी तरक्की कर ले, हमलोग उसके (प्रकृति ) सामने बेबस और तुक्ष ही रहेंगे |
उनलोगों के निधन का समाचार सुन कर गहरा दुःख हो रहा है | यह हम सभी लोग के लिए एक अपूरणीय क्षति है |
भगवान् दिवंगत आत्मा को शांति दें, और उनके परिजनों को दुःख की घडी में साहस प्रदान करे….
भावभीनी श्रद्धांजली
ॐ शांति ॐ ..
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Categories: मेरे संस्मरण





सचमुच बहुत ही दुख की बात
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कोरोना ने हमारे बहुत से अपनों को छीन लिया है ..
यह सब देख कर मन व्याकुल हो जाता जाता है ..
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Haa ji mere bhi kitne chale gae
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उनकी आत्मा की शांति के लिए हम भगवान् से प्रार्थना करते है..
ॐ शांति ॐ..
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Wo लोग बिचारे शांति से नहीं मरे ,
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जी हाँ,
यही तो दुर्भाग्य है..
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The Pandaemic has disrupted our lives in many ways. I have also lost 4 of my very close relatives besides some close friends and acquaintances due to corona related complications. But we should not be overwhelmed by grief and sad news and stay positive and maintain all precautions and not loose touch with our relatives and friends.
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You are right sir
But we feel sad hearing such bad news.
Really, life has become so unpredictable,
thanks for your consolation words…
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In fact very shocking condition.
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Yes dear,
We have lost so many friends and relatives,,
Today, I had greeted R P Bansal Saheb ,
immediately Sanjeev Lal Saheb taxed me that
he is already expired a month ago. I was shocked
to know that …. Life is so unpredictable now..
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भगवान उनकी आत्मा को शांति दे
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ॐ शांति ॐ..
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Very very sad news. Corona has taken many lives .We pray God to end this.
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Yes dear,
We have lost so many friends due to corona..
It is very sad to die in early age. It’s all shocking .
We pray for God …RIP..
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ॐ शांति ॐ
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भगवान् उनकी आत्मा को शांति प्रदान करें..
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Reblogged this on Love & Love Alone.
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I can very well relate. This happens once in century, but unfortunately, this time, it is man made. May their souls rest in peace!!
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Yes sir,
This is very unfortunate, we are helpless..
May their souls rest in peace..
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