# टाइम नहीं है #

हजारों …उलझने राहों में  और

कोशिशें हैं बेहिसाब ….

इसी का नाम है …ज़िन्दगी ,

चलते रहिये ज़नाब …..

आज कल की व्यावसायिक ज़िन्दगी (Professional Life) हमारे ज़माने से कुछ भिन्न नज़र आता है | हमारे ज़माने में वर्क फ्रॉम होम (work from home) नहीं था, मशीनों पर निर्भरता कम था … कंप्यूटर का ज़माना नहीं था |  

सभी काम मैन्युअल (manual ) हुआ करता था और सबसे बड़ी बात कि हमारे पास अपने परिवार के लिए भी वक़्त था |

ऐसा नहीं है कि हमारे ज़माने में उत्पादकता (productivity) नहीं थी, हमलोग भी खूब मेहनत करते थे और बेहतर परिणाम देते थे |

लेकिन आज की परिस्थति को देख कर आज के पीढ़ी (generation) पर तरस भी आता है, और गुस्सा भी आता है,…. जब हम देखते है कि अपना वर्तमान भुला कर उस भविष्य के लिए हम अपनी जवानी और ज़िन्दगी दांव पे लगाते है ..जो इस दुनिया की तरह अनिश्चित है |

कल ही जब हम अपने बेटे को बात करने हेतु फ़ोन किए, जो हमसे दूर रहता है …तो उसने फ़ोन काट दिया | कुछ ही देर के बाद उसका message आया..,,अभी ऑफिस के काम में व्यस्त (busy) हूँ, रात में बात करूँगा |

 हमेशा काम करना, कभी आराम नहीं करना, और समय न रहने का बहाना बनाना,  आज आम हो गया है |  

हम यह भूल गए है कि केवल काम और तरक्की ही जीवन में सबसे महत्वपूर्ण नहीं है जिसके लिए हम हमेशा भागते रहते है |

यह तो रेत में उभरे मृगतृष्णा के सामान है जिसमे हिरन पानी की खोज में भागता फिरता है और जब वह समीप पहुँचता  है तो वहाँ उसे पानी नहीं मिलता |

हां, फिर उसे दूर पानी  ज़रूर दिखाई पड़ता है और वह उसे पाने के लिए फिर भागने लगता है |

 इसी भरम-जाल में उसकी ज़िन्दगी का कीमती पल बीतते जाता है | ..

आपके ज़िन्दगी के अच्छे और क़ीमती क्षण वे हैं, जब आप अपने आप में संपूर्ण महसूस करते हो ,|. ब्रह्मांड का एक हिस्सा बन कर  और उन क्षणों में  अपने आप को उनमुक्त महसूस कर ज़िन्दगी को सही रूप में जिया जा सकता है |

इसके लिए हमें अपने आप में थोडा बदलाव करने की ज़रुरत है |

तुम  नकली मत बनो, यह समझते  हुए कि आप विराम नहीं ले सकते ।

बस इसके लिए बिलकुल चुप्पी, घोर  शांति और एक एहसास के लिए, आप बीच – बीच में कुछ समय के लिए इस मशीनी मायाजाल से अपने को आजाद करें ….मोबाइल को स्विच ऑफ करें …टीवी और कंप्यूटर से दूर हो जाये और निकल पड़े बाहर सैर के लिए |

कोई फर्क नहीं पड़ता कि समुद्र तट पर जा रहे हो या पार्क में जा रहे हो एक छोटी सी  सैर के लिए… गाड़ी से  जा रहे हो या पैदल जा रहे हो… बस जाना है और कही पहुँचना है …..कहाँ, शायद आप को भी नहीं मालूम |…  

कभी-कभी हमें अपनी ज़िन्दगी को इस रूप में भी जी कर एन्जॉय करना चाहिए |

किसी एक दोपहर में , या एक दिन बारिस में भींगते हुए कीचड़ में अपने पैर को भिगोयें या फिर  रेतीले समुद्र तट पर लोट पॉट हो .. मस्ती करें और कुछ क्षणों के लिए ही सही ..अपने वर्तमान को भूल जाए …बस एहसास करें तो प्रकृति की शीतलता का, पानी के बूंदों का पेड़ की पत्तियों पर गिरने के शोर का |

और अगर कुछ भी ना कर सके तो बस अपनी आँखे बंद कर ध्यान मग्न हो जाए और शांति और सुकून को गहराइयों से महसूस करे …,,

तब आप को लगेगा कि अब तक की भाग दौर व्यर्थ ही था | असल ज़िन्दगी का सुख तो यही है |

ज़िन्दगी बहुत कीमती है दोस्तों …इसे हर पल एन्जॉय करें.. .आप किसका इंतजार कर रहे हैं ?

प्लीज मेरे वीडियो को देखें और like करें |

BE HAPPY….BE ACTIVE….BE FOCUSED….BE ALIVE…

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Categories: motivational

12 replies

  1. You are right new generation has no time only running after carrier! And they love social media instead of living people. 👌👌

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  2. बिल्कुल सही कहा आपने। नई पीढ़ी के अंदाज भी नए हैं।

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  3. बिल्कुल सही भाई!अब की जिंदगी एक अंधी दौड़ के समान है। पता नहीं, हमने जितना खोया अंत तक उतना भी मिलेगा या नहीं इसका एहसास इन्हें कब होगा।

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