The past is already gone, the future is not yet here ,
there is only one moment for you to live…

बात तो ५० साल पुरानी है, लेकिन कुछ यादे ऐसी होती है जो बस दिलो दिमाग में बैठ जाती है हमेशा के लिए | ऐसी ही कुछ बचपन से जुड़ी यादे है जिसे कागज़ पर बिखेर कर मन हल्का करना चाहता हूँ..आज मैं वहाँ आया हूँ , जहाँ मेरा पूरा बचपन बिता था .एक छोटा सा क़स्बा, नाम है खगौल |
आज ५० साल के बाद मैं उस जगह को अकेला मन में एक उत्सुकता लिए जा रहा था या यूँ कहे हमारी बचपन की यादें खिंच कर ले जा रही थी | सच, मेरे मन में तरह तरह के सवाल उठ रहे थे | मैं इसी उधेर बुन में ट्रेन से रेलवे स्टेशन दानापुर पहुँचा और अपनी मंजिल की ओर चल दिया | कुछ दूर चलने के बाद मैं अपने पुराने मोहल्ले में पहुँच गया |
मैं वो संकरी गली ढूंढने लगा जिसमे हमारा घर हुआ करता था…
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